मुख्य सचिव द्वारा बाढ़ रोकथाम प्रबंधों का जायज़ा, 30 जून तक प्रबंध मुकम्मल करने के आदेश

  • डिप्टी कमीश्नरों को निजी तौर पर कार्यों की निगरानी करने के लिए कहा

चंडीगढ़,

पंजाब की मुख्य सचिव श्रीमती विनी महाजन ने आज राज्य के जल स्रोत विभाग और समूह डिप्टी कमीश्नरों को राज्य में ड्रेनों की सफ़ाई और चल रहे अन्य बाढ़ रोकथाम प्रबंधों को 30 जून तक मुकम्मल करने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने सभी डिप्टी कमीश्नरों को अपने जिलों में चल रहे कामों का निरीक्षण करने के लिए निजी तौर पर दौरा करने के लिए भी कहा।

यहाँ राज्य में बाढ़ की रोकथाम संबंधी तैयारियों का जायज़ा लेने के लिए की गई मीटिंग की अध्यक्षता करते हुए मुख्य सचिव ने जल स्रोत विभाग को हिदायत की कि संवेदनशील स्थानों पर बाढ़ की रोकथाम के काम में और तेज़ी लाने के लिए संबंधित डिप्टी कमीश्नरों के साथ परामर्श करके प्राथमिक तौर पर प्रबंध यकीनी बनाए जाएँ। उन्होंने वित्त विभाग को हिदायत की कि मौजूदा मॉनसून मौसम में बाढ़ के कारण पैदा हुई किसी भी स्थिति से निपटने के लिए सभी डिप्टी कमीश्नरों को ज़रुरी फंड जारी किये जाएँ।

जल स्रोत विभाग के प्रमुख सचिव सरवजीत सिंह ने मुख्य सचिव को बताया कि बाढ़ की रोकथाम के लिए 58.64 करोड़ रुपए की लागत से काम किये जा रहे हैं और ड्रेनों की सफ़ाई का काम 35.56 करोड़ रुपए की लागत से पूरा किया जायेगा। उन्होंने भरोसा दिया कि ड्रेनों की सफ़ाई और बाढ़ को रोकने संबंधी सभी उपाय इस महीने के अंत तक मुकम्मल कर लिए जाएंगे। उन्होंने यह भी बताया कि 1 जुलाई से अधिकृत व्हाट्सऐप ग्रुप ज़िला और राज्य स्तर पर ज़िला प्रशासन के अधिकारियों के लिए एक्टिव कर दिए जाएंगे। ज़िला प्रशासन के अधिकारी इस ग्रुप के मैंबर होंगे और राज्य के किसी भी हिस्से में अगर बाढ़ जैसी स्थिति बनती है तो उसकी जानकारी तुरंत साझा करेंगे जिससे समय पर और उचित राहत कार्यों को यकीनी बनाया जा सके।
मुख्य सचिव ने समय पर बचाव और राहत कार्यों को यकीनी बनाने के लिए राजस्व, पुनर्वास और आपदा प्रबंधन विभाग को हिदायत की कि मॉनसून के शिखर पर पहुँचने से पहले संवेदनशील जिलों को बाढ़ रोकथाम और बचाव यंत्रों की अपेक्षित सप्लाई यकीनी बनाई जाये। इसके अलावा उन्होंने टैंट, ईंधन, अतिरिक्त बिजली की व्यवस्था और सूखा राशन, पीने वाला पानी, मास्क, सैनेटाईजर और निजी सफ़ाई उत्पादों सहित ज़रूरी वस्तुओं की उपलब्धता यकीनी बनाने के लिए भी कहा। मीटिंग में दूसरां के अलावा अतिरिक्त मुख्य सचिव-कम-वित्त कमिश्नर राजस्व रवनीत कौर और प्रमुख सचिव स्थानीय निकाय ए.के. सिन्हा भी मौजूद थे।

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